पोड टैक्सी क्या है कहाँ दौड़ेगी भारत की पहली पोड कार | Personal Rapid Transit (PRT) or Pod Taxi India in hindi

आपको यह जान कर बहुत ख़ुशी होगी कि भारत की पहली पोड टैक्सी नोएडा फिल्म सिटी से नोइडा जेवर एअरपोर्ट तक जल्द ही चलायी जायेगी, पोड टैक्सी की सवारी बेहद ही खास होगी क्योंकि यह सारी सुविधाओ से लेस होगी और यात्री बहुत ही कम समय में अपना सफ़र तय कर सकेंगे, आइये जानते हैं पोड टैक्सी क्या है और इसमें क्या खास बात है।

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पोड टैक्सी क्या है (What is Pod Taxi)

पोड टैक्सी(Pod Taxi) स्वचालित रूप से चलने वाली टैक्सी है, इसमें 4 – 6 लोग एक साथ बैठ कर सफ़र कर सकते हैं, पोड टैक्सी को आमतौर पर मेट्रो से ज्यादा किफायती माना जाता है क्योंकि यह स्वचालित है, पोड टैक्सी(Pod Taxi) के चलने से कोई प्रदुषण भी नहीं होता क्योंकि यह बैटरी से चलती है और इसमें दुर्घटना की सम्भावना ना के बराबर है।

पोड टैक्सी एक हवा में उड़ने जैसी कार है जिसकी खूबसूरती ही इतनी लाजवाब होगी कि जब यह सच में चलेगी तो यह शहर की सुन्दरता, शोभा में चार चाँद लगा देगी।

पोड टैक्सी(Pod Taxi) प्रोजेक्ट या PRT पर कितना खर्च किया जाएगा (Personal Rapid Transport)

जी हाँ पोड टैक्सी(Pod Taxi) को पर्सनल रैपिड ट्रांसपोर्ट (Personal Rapid Transport) भी कहा जाता है क्योंकि यह स्वयं चलती है, सरकार द्वारा बताया जा रहा है कि प्रथम चरण में यह कुल 14.6 किलोमीटर का सफ़र तय करेगी और इसका खर्च लगभग 862 करोड़ रूपए आएगा।

पोड टैक्सी(Pod Taxi) PRT प्रोजेक्ट में कितना काम हो गया है

इस प्रोजेक्ट पर बहुत ही तेज़ी से काम चल रहा है, बताया जा रहा है कि सरकार ने इस प्रोजेक्ट के लिए एक समिति का भी गठन किया है जो तकनीकी रूप से इस पर पूरा ब्यौरा देगी। यह 5 सदस्यों की समिति होगी जिनके ऊपर इस प्रोजेक्ट की देख भल करने का जिम्मा होगा।

पोड टैक्सी(Pod Taxi) को और कहाँ कहाँ चलाने की योजना है  

सरकार की ओर से केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्री श्री नितिन गडकरी एवम राज्य मंत्री जी ने पोड टैक्सी(Pod Taxi) को दिल्ली-हरियाणा बॉर्डर से दिल्ली के कनाट प्लेस (राजीव चौक) तक चलाने की भी घोषणा की है, प्रथम चरण में इसकी सीमा 12.13 किलोमीटर तक तय की गई है, इस प्रोजेक्ट को समय से पूरा करने के लिए सरकार प्राइवेट या निजी कम्पोनियों की मदद भी ले सकती है।

पोड टैक्सी(Pod Taxi) का प्रोजेक्ट किसे मिला? (Who got the Pod Taxi Project in India?)

पोड टैक्सी का ग्लोबल टेंडर डाला गया जिसके द्वारा कंपनी फाइनल की गई, यीडा (YIEDA) के सीईओ ने बताया कि भारत सरकार की संस्था इंडियन पोर्ट रेल एंड रोपवे कॉर्पोरेशन लिमिटेड ने जो फाइनल डीपीआर दिया है, उसके हिसाब से इसे विकसित करने के लिए पीपीपी मॉडल पर तीन सुझाव दिए हैं। इन सुझावों पर बोर्ड की बैठक में चर्चा होने के बाद प्रदेश सरकार को मंजूरी के लिए भेजा जाएगा। प्रदेश सरकार से मंजूरी लेकर ग्लोबल टेंडर के जरिए इसको विकसित करने के लिए कंपनी का चयन किया अंत में सरकार ने यह प्रोजेक्ट यीडा (YIEDA)कंपनी को दिया।

नोएडा फिल्म सिटी से जेवर एयरपोर्ट तक पोड टैक्सी(Pod Taxi) प्रोजेक्ट कब तक पूरा होगा?

इंडियन पोर्ट रेल एंड रोपवे कॉर्पोरेशन लिमिटेड (Indian Port Rail & Ropeway Corporation Limited) ने नोएडा एअरपोर्ट से नोएडा फिल्म सिटी की बीच में चलने वाली पोड टैक्सी का फाइनल डीपिआर यमुना अथॉरिटी (Yamuna Authority) में पेश कर दिया है। इस डीपीआर को अब यीडा (YIEDA) (यीडा वह कंपनी है जिसे इस प्रोजेक्ट पे काम करने की मंजूरी मिली है) बोर्ड के सामने रखा जाएगा वहां से मंजूरी मिलने के बाद इसे सरकार को भेजा जाएगा, सरकार से मंजूरी मिलने के बाद इस दिशा में काम आगे बढ़ेगा, सरकार का लक्ष्य है इस प्रोजेक्ट को वर्ष 2023 के अंत तक पूरा करने का।

पोड टैक्सी(Pod Taxi) का इतिहास

पोड टैक्सी(Pod Taxi) की संरचना डॉन फिक्टर ने की, वर्ष 1953 में उन्हें इस तरह की कार बनाने का विचार आया,  इसके बाद वर्ष 1968 में इसको पहली बार एक प्रारूप दिया गया। 2010 में मैक्सिकन के एक कॉलेज में इसका आर्टिफिशियल इंटेलीजेंट सॉफ्टवेयर बनाया गया और फिर वर्ष 2014 में गौडलजारा नामक जगह पर इस कार का परीक्षण किया गया। हालांकि पहली पोड कार वर्ष 1970 में वेस्ट वर्जिनिया यूनिवर्सिटी में चलायी गयी थी।

नोएडा में पोड कार के आने से क्या फ़ायदा होगा

Pod Taxi Noida
Pod Taxi Noida

भारत के शहर नॉएडा में पोड कार के आने से यहाँ के निवासियों को ट्रैफिक से जूझना नहीं पड़ेगा क्योंकि पोड कार का अपना एक अलग ट्रैक होता है, पोड कार के आने से लोग इसके सफ़र का लुत्फ़ उठाना चाहेंगे जिस से प्रदुषण में भारी कमी आ सकती है, इस कार के शहर में चलने से शहर की सुंदरता कई गुना बढ़ जाएगी और यह आकर्षण का केंद्र भी बन सकती है।

पोड कार के क्या फायेदे है (Benefits of Pod Taxi)

1.पोड कार स्वचालित है, ड्राईवर की सैलरी का खर्च बचेगा।
2.इसके इस्तेमाल से प्रदूषण में कमी आएगी।
3.यात्री लम्बी दूरी कम समय में तय कर सकेंगे।
4.उर्जा की बचत होगी।
5.आकर्षण का केंद्र बनने की वजह से टूरिज्म बढेगा।
6.शहर की सुन्दरता कई गुना बढ़ेगी।

पोड टैक्सी नोएडा के कौन कौनसे सेक्टर में चलेगी

प्रथम चरण में पोड टैक्सी कुल 14 किलोमीटर का सफ़र तय करेगी, यह नोएडा फिल्म सिटी से चलकर नोएडा सेक्टर 21,28,29,32 व 33 होते हुए नोएडा एयरपोर्ट के बीच चलेगी। इसके साथ ही ये हर सेक्टर में ठहरेगी।

कितने लोग रोज़ाना कर सकेंगे पोड टैक्सी से सफ़र

सरकार द्वारा ये अनुमान लगाया जा रहा है कि जिस वर्ष पोड टैक्सी की शुरुआत होगी उस वर्ष इस से लगभग 5000 लोग रोज़ाना सफ़र करेंगे और अगले वर्ष यह संख्या बढ़कर 8000 तक पहुँच सकती है।

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FAQ’s

Q. पोड ताकी भारत में कहा पर चलेगी?

Ans: प्रथम चरण में पोड टैक्सी नोइडा फिल्म सिटी से लेकर नोइडा जेवर एअरपोर्ट तक चलेगी।

Q. पोड टैक्सी का काम कौनसी कंपनी को दिया गया है?

Ans: पोड टैक्सी का काम यीडा (YIEDA) कंपनी को दिया गया है।

Q. पोड टैक्सी पर कितना खर्च आएगा?

Ans: पोड टैक्सी पर प्रथम चरण में लगभग 862 करोड़ रूपए खर्च आएगा।

Q. पोड टैक्सी में कितने लोगों के एक साथ बैठने की व्यवस्था हैं?

Ans: पोड टैक्सी में 4 से 6 लोगों के एक साथ बैठने की व्यवस्था हैं।

Q. पोड टैक्सी में रोज़ाना कितने लोग सफ़र करेंगे?

Ans: पोड टैक्सी में रोज़ाना 5000 से 8000 लोग सफ़र करेंगे ।

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