क्या व्यक्ति के बार बार गलती करने पर भी हमे उसे माफ़ कर देना चाहिए ? | Forgiveness is the key to Happiness in Hindi

क्या आप एक ऐसे व्यक्ति हैं जो किसी के गलती करने के बाद अगर उस व्यक्ति द्वारा माफ़ी मांगी जाये तो उसे माफ़ कर देते हैं या फिर ऐसे व्यक्ति हैं जो उस बात को पकड़कर उस व्यक्ति से लम्बे समय तक या हमेशा नाराज़ रहते हैं ? क्या स्वयं गलती करने के बाद भी आप लम्बे समय तक खुद को माफ़ नहीं कर पाते या फिर आसानी से खुद को माफ़ कर देते हैं ?

चाहे गलती करने वाला व्यक्ति कोई और हो या आप खुद, ग़लतियाँ इंसान से ही होती हैं और ग़लती करने वाले व्यक्ति को माफ़ करना बहुत ज़रूरी है।  कुछ लोग किसी की ग़लती पर इतना नाराज़ हो जाते हैं कि चाहे वह व्यक्ति उनसे अनगिनत बार माफ़ी ही क्यों ना मांग ले, वे कभी उस व्यक्ति को माफ़ ही नहीं कर पाते और यही से शुरू होती है कड़वी और दुःख देने वाली भावनाओं की एक लम्बी सी कड़ी।  माफ़ ना करने वाला व्यक्ति हमेशा दुखी रहता है।  

हमारा दिल दुःखाने वाले व्यक्ति को हम माफ़ क्यों नहीं कर पाते ?

हमारे जीवन में  कुछ लोग ऐसे होते हैं जिनसे हम साल में एक ही बार मिलते हैं, कुछ ऐसे जिनसे हम रोज़ मिलते तो हैं पर हाल चाल पूछने से ज़्यादा कुछ बात नहीं होती, कुछ हमारे ऑफिस, स्कूल या कॉलेज में हमारे साथ होते हैं और कुछ लोग ऐसे होते हैं जिन्हे हम अपने दिल के बहुत करीब मानते हैं, जिन्हे हम अपना मानते हैं जैसे हमारे माता पिता, दोस्त, भाई बहन, गर्लफ्रेंड, बॉयफ्रेंड, कोई रिश्तेदार आदि।

इन सभी रिश्तो को हम इतना करीब मानते हैं और संजोकर रखते हैं कि यदि कोई कभी भी जाने अनजाने में भी कोई दिल दुखने वाली बात कर दे  तो हम बिलकुल टूट जाते हैं , एकदम बिखर से जाते हैं या लम्बे समय तक नाराज़ रहते हैं।  हम ये समझ नहीं पाते कि हमारे साथ ऐसा क्यों हुआ, इतना प्यार, इज़्ज़त और भरोसा करने के बाद भी उस व्यक्ति ने हमारा दिल क्यों दुखाया।

बहुत से लोग तो इतने दुखी हो जाते हैं कि जब भी ये बात याद करते हैं तो अपने आंसू नहीं रोक पाते।  दुखी होना, गुस्सा होना या नाराज़ होना अजीब या गलत बात नहीं है लेकिन जब ये कड़वे भाव लम्बे समय के लिए रहे तो एक व्यक्ति के जीवन को और दुःखद बनाते हैं।

जिन लोगों को हम अपने दिल के बहुत करीब मानते हैं उनसे हमारी कई उम्मीदें जुड़ी होती हैं, हमारे लिए यह मानना ही बहुत मुश्किल हो जाता है कि वे कभी हमे दुःख भी पहुंचा सकते हैं और इसी उम्मीद के चलते जब वे ऐसा कुछ कर देते हैं जो हमने कभी सोचा ना हो तो हमारा दिल बहुत दुःखी हो जाता है और इस दुःख के कारण, जो कभी कभी गुस्से का भी रूप ले लेता है, हम उन्हें कभी माफ़ नहीं कर पाते।

हमे दुःख पहुंचाने वाले व्यक्ति को माफ़ कैसे करें ?

कोई भी व्यक्ति जब कोई ग़लत बात बोल देता है या ऐसा कुछ कर देता है जिसकी हमे उससे उम्मीद ना हो तो हमे एकदम से गुस्सा आता है या हम नाराज़ या दुःखी हो जाते हैं। जब भी आपके साथ ऐसा कुछ हो तो सबसे पहले यह सोचें कि उस व्यक्ति ने आपके साथ ऐसा व्यवहार क्यों किया या बुरी लगने वाली बात क्यों बोली।  ऐसा बहुत बार होता है कि कोई व्यक्ति किसी परेशानी से गुज़र रहा होता है लेकिन किसी से अपनी परेशानी बाँट नहीं पाता और इसी कारण से वह व्यक्ति किसी अपने से बेरुखी से बात करने लगता है या ऐसा व्यवहार कर देता है जो आपको दुःख पहुंचाए। 

ऐसे में यदि आप उस व्यक्ति को माफ़ ना करें तो यह गलत होगा क्योंकि इससे उसकी परेशानी और बढ़ जाएगी, हो सकता है रूखे व्यवहार का कारण कोई ऐसी परेशानी हो जिसके बारे में हम नहीं जानते इसीलिए जब भी आपके साथ कोई बेरुखा व्यवहार करे या दुःख देने वाली बात बोले तो ये समझने की कोशिश करें कि उस व्यक्ति ने ऐसा क्यों किया होगा क्योंकि जिस भी तरह से एक व्यक्ति व्यवहार करता है उसके पीछे हमेशा कोई ना कोई कारण ज़रूर होता है। 

कभी कभी आपके साथ भी ऐसा होता होगा कि किसी परेशानी के चलते आप किसी अपने पर गुस्सा हो जाते हैं, आप ऐसा चाहते नहीं पर ऐसा हो जाता है लेकिन आप बाद में उस व्यक्ति से माफ़ी भी मांगते हैं और खुद को माफ़ भी करते हैं तो जिस तरह आप खुद को माफ़ करते हैं और समझते हैं उसी तरह सामने वाले व्यक्ति को भी समझें और माफ़ कर दें।

माफ़ करने वाला व्यक्ति हमेशा सुकून महसूस करता है

कभी इस बात पर गौर कीजिएगा कि जब आप किसी व्यक्ति से गुस्सा होते हैं या इस कदर दुःखी होते हैं कि आप ये ठान लेते हैं कि चाहे कुछ भी क्यों न हो जाए आप उस व्यक्ति को कभी माफ़ नहीं करेंगे तो आपके मन में उस व्यक्ति के लिए हमेशा गुस्सा,नाराज़गी या नफरत जैसे भाव भरे रहते हैं और इससे सिर्फ यही होता है कि जब भी उस व्यक्ति का ज़िक्र होता है या आप उससे मिलते हैं तो आपके भीतर एक कड़वाहट सी रहती है या आपका मूड और दिन ख़राब हो जाता है। 

इससे आपको नुक़सान ही नुक़सान है क्योंकि आप हर दिन अपने दिल को दुःख पहुंचा रहे हैं, जो बात माफ़ करके ख़त्म हो सकती थी उसे आप खुद ही बढ़ाए चले जाते हैं और खुद को और भी ज़्यादा दुःखी करते हैं।  वहीं जो व्यक्ति ग़लती करने वाले व्यक्ति को माफ़ कर देते हैं उनका मन और मस्तिष्क हमेशा शांत रहता है , वह व्यक्ति हमेशा प्रसन्न महसूस करता है, उसके चेहरे के भाव भी हमेशा आनंद से भरे हुए होते हैं क्योंकि ऐसे व्यक्ति के मन में किसी के लिए भी गुस्सा, नाराज़गी या नफरत कि भावना नहीं होती है। 

ख़ुश रहने के लिए माफ़ करना है ज़रूरी

हमेशा याद रखें कि दुःखी या सुखी होना आप पर निर्भर करता है किसी और पर नहीं।  आप में और एक रोबोट में यही अंतर है कि आपको क्या करना है और क्या नहीं यह सम्पूर्णतः आप पर निर्भर करता है जबकि एक रोबोट का रिमोट कण्ट्रोल किसी और के पास होता है और जैसा दूसरा व्यक्ति चलना चाहे एक रोबोट उसी तरह से चलता है। 

दुर्भाग्यवश हम में से भी कई लोग एक रोबोट बनकर रह गए हैं , हमारी ख़ुशी, दुःख आदि सब दूसरों के व्यवहार पर निर्भर करने लगा है जो गलत है। कोई अगर तारीफ कर दे तो हम खुश हो जाते हैं वहीँ अगर कोई हमारी बुराई करे तो हम दुखी हो जाते हैं और यही कारण है कि हम अधिकतर दुखी रहते हैं और शिकायतें करते रहते हैं।

जब किसी भी बात से या किसी भी व्यक्ति के कारण आप दुखो हो जाएं तो उसे निरंतर कोसना बंद कर दें।  जब कोई गलत बात कहता है या आपके साथ कुछ ग़लत करता है तो उस समय बुरा लगना प्राकृतिक बात है लेकिन यदि आप उस बात को भूलकर उस व्यक्ति को माफ़ कर आगे नहीं बढ़ते तो यह आपकी गलती है, उस व्यक्ति को माफ़ ना करके जिस भी दुःख से आप गुज़र रहे हैं उसके लिए आप खुद ज़िम्मेदार हैं, वो व्यक्ति नही। 

उस व्यक्ति ने जो करना था वो कर दिया अब उस बात को भूलकर आगे बढ़ना है या उस व्यक्ति को कभी माफ़ नहीं करना ये आपके ऊपर निर्भर करता है।  यदि माफ़ करके आगे बढ़ेंगे तो हमेशा खुश रहेंगे। याद रहे आप एक जीते जाते व्यक्ति हैं कोई रोबोट नहीं।  अपनी ख़ुशी स्वयं चुनें।  किसी को माफ़ ना करना यानी एक ऐसा ज़हर पीना जो आपको रोज़ धीरे धीरे मारता चला जाता है। 

माफ़ करना सीखें क्योंकि  कोई भी व्यक्ति परफेक्ट नहीं होता

इस संसार में ना तो कोई ऐसा व्यक्ति है जो परफेक्ट हो यानी जिसमे कोई कमी ना हो और ना ही कोई ऐसा व्यक्ति होगा जिसने कभी किसीका दिल नहीं दुखाया होगा।  जाने अनजाने में हम सब ने कभी ना कभी किसी ना किसी का दिल तो ज़रूर दुखाया होगा।  कई बार हमने जिसका दिल दुखाया होगा उसने हमे आकर बताया होगा या कोई व्यक्ति ऐसा होगा जो आज भी दुखी होगा या हमे पसंद नहीं करता होगा। 

हो सकता है वह व्यक्ति हमारी शक्ल भी देखना पसंद ना करता हो।  यह सुनकर बुरा लगा ना ? जिस तरह आप नहीं चाहते कि कोई व्यक्ति आपके कारण दुःखी रहे या आपसे नफ़रत करे, उसी तरह इस संसार का कोई दूसरा व्यक्ति भी ऐसा बिलकुल नहीं चाहता।

हम सब में कुछ अच्छी बातें हैं और कुछ कमियाँ भी, जब ये बात आप समझ लेंगे तो जिस व्यक्ति ने आपका दिल दुखाया हो, उसे आप ज़रूर माफ़ करेंगे।  नाराज़गी बहुत ही नुकसानदायक है। जिस बात या व्यवहार से आपका दिल दुःखी हुआ वो तो उसी समय ख़त्म हो गयी लेकिन उसे याद कर करके आप और दुखी होते जाते हैं। 

कोई व्यक्ति परफेक्ट नहीं है , ऐसे कई लोग होंगे जिन्होंने आपका दिल दुखाया होगा या आने वाले समय में आपका दिल दुखाएंगे लेकिन याद रखें माफ़ करना एक समझदार व्यक्ति की पहचान होती है क्योंकि वह जानता है कि वह भी इंसान है और ग़लती कर सकता है।

दूसरों से ज़्यादा उम्मीदें ना रखें तभी आसानी से माफ़ कर पाएंगे

कुछ लोग यह सोचते हैं कि वे सबके साथ मीठा बोलते हैं याअच्छा व्यवहार रखते हैं या दिल के साफ़ है तो उनके साथ भी बिलकुल वैसा ही होगा और जब उनके साथ ऐसा नहीं होता और कोई स्वार्थी व्यक्ति उनकी उम्मीद पर पानी फेर देता है तो वे बिलकुल टूट जाते हैं।  यह एक भौतिकवादी युग है जहाँ अधिकतर लोग किसी ना किसी वास्तु के पीछे बिना रुके दौड़े चले जा रहे हैं और इस दौड़ में यदि उन्हें किसी का दिल भी दुखाना पड़ जाए तो उन्हें मंज़ूर है। 

ऐसे में किसी व्यक्ति से यह उम्मीद लेकर बैठना कि वह आपके साथ कभी कुछ गलत नहीं करेगा, आपको कभी दुःख नहीं पहुंचाएगा अपने आप में दुःख का कारण बनने वाली बात है।  यदि आप अपनी उमीदों को कम करना सीख लेंगे तो चाहे कोई कुछ भी क्यों ना कर ले आप उस व्यक्ति को माफ़ कर आगे बढ़ेंगे।  उम्मीद उतनी ही करें जितनी जायज़ हैं। 

माफ़ करना दूसरों पर नहीं खुद पर उपकार है

सिर्फ माफ़ करना ही ज़रूरी नहीं है, यदि आप उपकार समझकर दूसरे व्यक्ति को माफ़ कर रहे हैं तो आप हमेशा बड़प्पन की भावना में जियेंगे।  किसी को माफ़ करना उस पर उपकार करना नहीं है बल्कि खुद पर उपकार करना है क्योंकि जब आप गलती करने वाले को माफ़ नहीं करते तो आपके मन में उसके लिए कड़वे और गलत भाव उत्पन्न होते हैं जो अच्छी बात नहीं है, ऐसा करने से आप भी अच्छे से बुराई की तरफ बढ़ने लगते हैं। 

बुराई का अर्थ सिर्फ यह नहीं है कि आप किसी व्यक्ति को नुक़सान पहुंचाए, उस व्यक्ति के लिए अपने मन में किसी भी प्रकार का गलत भाव रखना भी बुरी बात ही है।  जब आप माफ़ करना सीखते हैं तो आपके मन में अच्छे विचार होते हैं, गलत भावना का तो कोई स्थान ही नहीं होता और ऐसा करने से आप अच्छाई की ओर बढ़ते हैं, खुद पर उपकार करते हैं।

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FAQ

Q. क्या हमे धोखा देने वाले को भी माफ़ कर देना चाहिए ?

Ans: हमे हर व्यक्ति को माफ़ कर देना चाहिए क्योंकि किसी को माफ़ कर हम उस पर नहीं खुद पर उपकार करते हैं।

Q. गलती करने वाले को माफ़ कैसे करें ?

Ans: गलती करने वाले से बात करें, उन्हें बताएं कि आपने उन्हें माफ़ कर दिए है और आप चाहते हैं कि वे दोबारा अपनी गलती ना दोहराएं।

Q. मुझे माफ़ कर दो को अंग्रेजी में कैसे कहेंगे ?

Ans: मुझे माफ़ कर दो को अंग्रेजी में आई एम सॉरी कहते हैं।

Q. गलती करने पर माफ़ी कैसे मांगे ?

Ans: माफ़ी मांगने के लिए कभी भी इंतज़ार नहीं करना चाहिए, गलती करने के तुरंत बाद ही माफ़ी मांग लेनी चाहिए।

Q. माफ़ ना करने से क्या होता है ?

Ans: माफ़ ना करने से आप गलती करने वाले के लिए अपने दिल में गुस्सा ओर नाराज़गी रखते हैं जिससे आपके मन और मस्तिष्क कभी शांत नहीं रहते।

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